कोलकाता : (Kolkata) प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) (ED) ने शुक्रवार को पश्चिम बंगाल में दो अलग-अलग मनी लॉन्ड्रिंग मामलों में राज्य के अग्निशमन मंत्री सुजीत बोस (state Fire Minister Sujit Bose) के कार्यालय सहित 10 स्थानों पर एक साथ छापेमारी की। ये छापे कोलकाता और उसके आसपास के इलाकों में जारी हैं।
ईडी की कार्रवाई जिन दो मामलों में की जा रही है, उनमें से एक नगरपालिकाओं में नौकरी के बदले नकद घोटाले से संबंधित है, जबकि दूसरा बैंक ऋण धोखाधड़ी (bank loan fraud case) मामले से जुड़ा है। एजेंसी की एक टीम ने उत्तर कोलकाता के साल्ट लेक स्थित मंत्री सुजीत बोस के कार्यालय में भी छापेमारी की, जो नगरपालिकाओं में भर्ती अनियमितताओं के मामले से जुड़ा बताया जा रहा है।
इसके अलावा, दक्षिण कोलकाता के न्यू अलीपुर, सरत बोस रोड के साथ ही राजधानी के उत्तरी हिस्से नागेरबाजार में भी ईडी की टीमें तलाशी अभियान चला रही हैं। न्यू अलीपुर में कलकत्ता उच्च न्यायालय के एक प्रख्यात अधिवक्ता के आवास पर भी छापा मारा गया है। प्रत्येक टीम के साथ केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (Central Armed Police Force) (CAPF) के जवान सुरक्षा में तैनात हैं।
यह पहला मौका नहीं है जब मंत्री सुजीत बोस के परिसरों पर ईडी ने छापा मारा हो। इससे पहले जनवरी, 2024 में भी ईडी ने उनके घर और कार्यालय पर एक साथ छापेमारी की थी, जिसमें कई आपत्तिजनक दस्तावेज़ और उनका मोबाइल फ़ोन जब्त किया गया था।
नगरपालिका भर्ती घोटाले से जुड़े इन छापों के बीच केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (Central Bureau of Investigation) (CBI) भी इसी मामले में अपनी समानांतर जांच के तहत नया आरोप पत्र दाखिल करने की तैयारी कर रहा है। सीबीआई सूत्रों के अनुसार, इस मामले में एक राजनीतिक रूप से प्रभावशाली व्यक्ति के पुत्र से पूछताछ की गई है, हालांकि उसका नाम अब तक सार्वजनिक नहीं किया गया है।
सीबीआई की जांच उसी प्राथमिकी के आधार पर शुरू की गई थी, जिसे कलकत्ता उच्च न्यायालय के आदेश पर दर्ज किया गया था। अदालत ने ईडी की उस दलील को स्वीकार किया था कि भर्ती घोटाला केवल शिक्षकों की नियुक्ति तक सीमित नहीं है, बल्कि यह पश्चिम बंगाल की नगरपालिकाओं में विभिन्न पदों पर भर्ती तक फैला हुआ है।