spot_img
Homeigr newsmotivational story : सही विजय

motivational story : सही विजय

महाभारत चल रहा था। कौरव-पाण्डवों के बीच भयंकर युद्ध हो रहा था। कर्ण और अर्जुन के बीच भयंकर वाणवर्षा जारी थी। अवसर पाकर एक भंयकर सर्प कर्ण के तूणीर में घुस गया। कर्ण ने बाण निकाला तो स्पर्श कुछ अनोखा लगा। उसने सर्प को देखा और आश्चर्य से पूछा, ‘तुम यहां किस प्रकार आए?’

सर्प ने कहा, ‘अर्जुन ने एक बार खाण्डव वन में आग लगा दी थी। उसमें मेरी माता जल गईं। तभी से मेरे मन में प्रतिशोध जल रहा है और इस ताक में था कि कोई अवसर मिले और मैं अर्जुन के प्राण हरण करूं।

आप मुझे तीर के स्थान पर चला दें। मैं जाते ही अर्जुन को डंस लूंगा। आपका शत्रु मर जायगा और मेरा प्रतिशोध शान्त हो जायगा।’ कर्ण ने कहा, ‘अनैतिक उपाय से सफलता पाने का मेरा तनिक भी विचार नहीं है। सर्प देव आप वापस लौट जायं

spot_imgspot_imgspot_img
इससे जुडी खबरें
spot_imgspot_imgspot_img

सबसे ज्यादा पढ़ी जाने वाली खबर