धमतरी:(Dhamtari) प्री मानसून की दस्तक होने के साथ ही धमतरी जिले में खरीफ फसल की तैयारी में किसान जुट गए हैं। इन दिनों किसान खेतों की जुताई में व्यस्त हैं। इसके साथ ही साथ सोसाइटियों (Along with societies) से खाद का उठाव भी हो रहा है।
धमतरी जिले के चारों ब्लाक में खरीफ फसल की तैयारी में किसान जुट गए हैं। सुबह के समय किसानों को खेतों की जुताई करते हुए देखा जा सकता है। इधर दूसरी ओर कृषि बोर सिंचाई सुविधा संपन्न किसानों ने रोपाई के लिए खेतों में नर्सरी लगाना शुरू कर दिया है। माह भर के भीतर नर्सरी तैयार होने के बाद रोपाई करेंगे।
कृषि विभाग से मिली जानकारी के अनुसार जिले के किसान 70 हजार हेक्टेयर से अधिक रकबा पर खरीफ सीजन में रोपाई करते हैं। किसानों को मानसून आने का इंतजार है, क्योंकि आषाढ़ माह की शुरूआत होने के साथ अंचल में खरीफ खेती-किसानी की तैयारी शुरू हो जाती है। कृषि बोर सिंचाई सुविधा संपन्न किसान अपने खेतों में इन दिनों रोपाई के लिए नर्सरी तैयार करने में जुट गए है। क्षेत्र के ग्राम श्यामतराई, मुजगहन, भटगांव, नवागांव, बाेरिदखुर्द, लोहरसी, परसतराई, खरतुली, खपरी, भानपुरी, तेलीनसत्ती, देमार, कोर्रा, कुर्रा, इर्रा समेत कई गांवों के किसान रोपाई के लिए खेतों में नर्सरी तैयार करने की तैयारी में जुट गए है। कुछ किसान नर्सरी लगाने खेतों में पानी सिंचाई कर चुके हैं। जिले में किसान खरीफ सीजन में करीब 70 हजार हेक्टेयर पर रोपाई करते हैं। इतना रकबा के लिए खरीफ सीजन में उनके बोर पंपों में पर्याप्त सिंचाई पानी होता है। अच्छी वर्षा होने पर बोर पंप चलाने की जरूरत नहीं पड़ता। अधिकांश धान वर्षा के पानी में तैयार हो जाता है। किसान वर्षा जल के भरोसा बोता, लाइचोपी समेत अन्य पद्धति से खरीफ खेती-किसानी करते हैं। वर्तमान में ऐसे किसान खेतों की साफ-सफाई व सूखा जोताई करा रहे हैं। ट्रेक्टर व बैलों से किसान खेतों की जोताई में लगे हुए है। अब किसानों को वर्षा होने का इंतजार है।
बारिश होते ही वनांचल के किसान सूखा बोनी शुरू कर देंगे, क्योंकि नगरी व मगरलोड ब्लाक के अधिकांश किसान मानसून पर निर्भर होकर खरीफ खेती-किसानी करते हैं। यही वजह है कि वनांचल के अधिकांश किसान अपने खेतों की सूखा जोताई करके वर्षा के इंतजार में बैठे हुए हैं।