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Bhopal : नरसिम्हा राव को भारत रत्न देने पर विधानसभा में सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच नोंक-झोक

भोपाल : (Bhopal) केंद्र सरकार ने शुक्रवार को पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह (former Prime Minister Chaudhary Charan Singh), पीवी नरसिम्हा राव और वैज्ञानिक एमएस स्वामीनाथन को सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘भारत रत्न’ देने का ऐलान किया है। पूर्व प्रधानमंत्री पीवी नरसिम्हा राव को भारत रत्न देने पर मध्य प्रदेश विधानसभा के बजट सत्र के दौरान विपक्ष ने जमकर हंगामा किया। सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच इसको लेकर जमकर नोंक-झोक हुई।

मध्यप्रदेश विधानसभा के बजट सत्र के तीसरे दिन शुक्रवार को सदन में पहले अवैध खनन को लेकर विपक्ष ने हंगामा किया। सरकार की तरफ से विपक्ष के सवालों का जवाब दिया गया। इसके बाद गुरुवार को विधानसभा में पेश किए गए 30,265 करोड़ रुपये के अनुपूरक बजट पर चर्चा शुरू हुई। चर्चा के लिए विधानसभा अध्यक्ष नरेन्द्र सिंह तोमर ने दो घंटे का समय तय किया है। इस दौरान कुछ देर के लिए लाडली बहना का मुद्दा गरमाया और फिर पूर्व प्रधानमंत्री नरसिम्हा राव को भारत रत्न देने पर सरकार और कांग्रेस के विधायकों के बीच बहस हुई।

नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि भारत रत्न देने में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पक्षपात नहीं किया। विपक्ष के लोगों को भी भारत रत्न देने का काम किया। पूर्व प्रधानमंत्री नरसिम्हा राव भी शामिल हैं। इस पर कांग्रेस विधायक बाला बच्चन ने कहा कि कांग्रेस ने नरसिम्हा राव को प्रधानमंत्री बनाने का काम किया है। मंत्री विजयवर्गीय ने कहा कि जब पूर्व प्रधानमंत्री राव की मृत्यु हुई और उनका पार्थिव शरीर कांग्रेस कार्यालय ले जाया जा रहा था, तो कांग्रेस के तत्कालीन राष्ट्रीय महासचिव ने ऐसा करने से रोक दिया था। यह नरसिंह राव का अपमान था। इस पर सत्ता पक्ष और विपक्ष के सदस्यों में जमकर बहस हुई।

कांग्रेस विधायक रामनिवास रावत ने कहा कि भाजपा सरकार ने मुंह देखकर विकास के काम कराए हैं। अनुपूरक बजट में ही विश्वास को तोड़ा। लाडली महिलाओं को तीन हजार रुपये देने की बात करने वाली भाजपा अब तक इस पर अमल नहीं कर सकी है। हर महीने लाडली बहनों की संख्या घटती जा रही है।

वहीं, विधायक नितेंद्र सिंह राठौड़ ने सदन में नौकरी का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि हर साल नौजवान भर्ती के लिए तैयारी करते हैं, लेकिन भर्ती नहीं होती। सरकार भर्ती नहीं कर सकती तो स्पष्ट मना कर दे, युवाओं को छलने का काम न करें। मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल ने विधायक राठौर के सवाल पर कहा कि भर्ती में थोड़ा विलंब हुआ है, लेकिन सरकार लगातार प्रयास कर रही है। पदोन्नति पर न्यायालय की रोक है, लेकिन इसका समाधान निकाला जा रहा है।

इससे पहले सदन में अवैध खनन पर जमकर सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच बहस हुई। कांग्रेस विधायक सुरेश राजे ने अवैध खनन का मुद्दा उठाया। उन्होंने सत्ता पक्ष पर अवैध उत्खनन का आरोप लगाया। विपक्षी सदस्यों के सवाल पर मंत्री दिलीप अहिरवार सदन में कहा कि अवैध खनन को रोकने के लिए कैमरे लगाएंगे। मुख्यमंत्री ने इसका निर्णय लिया है। इससे अवैध खनन रोकने पर मदद मिलेगी। इस पर कांग्रेस के दिनेश राय मुनमुन, सुरेश राजे, विजय रेवनाथ चौरे, महेश परमार, शेखावत समेत अन्य विधायकों ने कहा कि पहली बार के मंत्री सही जवाब नहीं दे पा रहे हैं। विधायक भंवर सिंह शेखावत ने कहा कि रेत और खनन माफिया न प्रशासन को और नहीं शासन को मानता है। इसी दौरान सत्तापक्ष की ओर से मंत्री तुलसी सिलावट कुछ कहने के लिए खड़े हुए तो विधायक शेखावत ने उन्हें कहा कि आप बैठिए। उनके क्षेत्र में खनन करने वाला आपका मित्र है।

आदिवासी किसान को तहसीलदार द्वारा थप्पड़ मारने का मुद्दा भी सदन में गूंजा

विधानसभा में अनुपूरक बजट पर चर्चा के दौरान सदन में एक आदिवासी किसान को तहसीलदार द्वारा थप्पड़ मारने का मुद्दा भी गूंजा। इस पर राजस्व मंत्री करण सिंह वर्मा ने सदन में ही संबंधित तहसीलदार को निलंबित करने की घोषणा कर दी।

गौरतलब है कि गुरुवार को बड़वानी जिले के पानसेमल तहसील का आदिवासी किसान को थप्पड़ मारने का वीडियो सामने आया था। सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होने के बाद कलेक्टर ने पानसेमल के प्रभारी तहसीलदार हितेंद्र भावसार को हटा दिया था।

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