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India Ground Report

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें प्रियंका दुबे की कविता प्रेम की हत्या

प्रेम मेरी हत्या कैसे करेगा?कैसे हो पाएगा वहमेरी उस गर्दन पर चाक़ू रख पाने जितना निष्ठुरजिस गर्दन को उसने सालोंअपनी साँस की धुरी माना...

रोजाना एक कविता: आज पढ़िए आधुनिक युग की मीरा यानी Mahadevi Verma की 5 श्रेष्ठ कविताएं

आज पढ़िए आधुनिक युग की मीरा यानी Mahadevi Verma छायावादी युग के प्रमुख स्तंभों में से एक हैं। उनकी कविता, कविता न होकर गीत...

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें रामधारी सिंह “दिनकर” की कविता समर शेष है

ढीली करो धनुष की डोरी, तरकस का कस खोलो ,किसने कहा, युद्ध की बेला चली गयी, शांति से बोलो?किसने कहा, और मत बेधो हृदय...

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें पंकज मिसरा की कविता मेरे समुद्र!!

प्यार से उपजी घृणा का स्वाद कितना मधुर हैमेरे समुद्र! मेरे प्यार! एक लंबी राह चलकर आया तुम्हारे पासकितनी नदियों को पार कियापर्वत लांघे, रेत...

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें मार्कंडेय राय ‘नीरव’ की कविता तुम्हारा आना

तुम ये न कहना कितुम इसलिये नहीं आई क्योंकितुम आना नहीं चाहती थी तुम ये कहना कि तुम आ नहीं पाईक्योंकि रास्तों ने तुम्हें रास्ता...

रोजाना एक कविता : आज बिहार दिवस के अवसर पढ़िए कवि अरुणाभ सौरभ की दिल को छू लेने वाली मार्मिक कविता वो स्साला बिहारी

अबे तेरी…और कॉलर पकड़तीन-चारजड़ दिए जाते हैंमुँह परइतने से नहीं तोबिहारी मादर…चोर, चीलड़, पॉकेटमारभौंसड़ी के…सुबह हो गईचाय लातेरी भैण कीझाड़ू-पोंछातेरी माँ लगाएगी?जब भी मैंअपने...

सच्चाई की जीत

एक गांव था जिसका नाम मायापुर था। और गांव की सुंदरता का तो कुछ कहना ही नहीं था। क्योंकि उस गांव के किनारे ही...

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें हेमन्त देवलेकर की कविता प्रेम की अनिवार्यता

बहुत असंभव-से आविष्कार किए प्रेम नेऔर अंततः हमें मनुष्य बनाया लेकिन अस्वीकार की गहरी पीड़ाउस प्रेम के हर उपकार काध्वंस करने पर तुली दिया जिसनेसब कुछ...

पीड़ाओं का अलंकरण

एक अनाम रास्ते पर चलते हुए आभास हुआ किस यात्रा में चल रहा हूँ नेत्रों ने आकाश का नील सोख लिया है देह के भीतर...

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें सूरज सरस्वती शाण्डिल्य की कविता पीड़ाओं का अलंकरण

एक अनाम रास्ते पर चलते हुए आभास हुआ किस यात्रा में चल रहा हूँ कि ना थक रहा हूँ ना रुक रहा हूँ नेत्रों ने आकाश...

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें अमित बृज की कविता मोहब्बत के रंग

कुछ फूलों केकुछ कांटों केकुछ ख्वाइशकुछ ख्याबों के…कुछ आंसू के,कुछ खुशबू के,कुछ भूली-बिसरी बातों के…यादों के गुलाल उड़ेंगे, आज तुम्हारे आँगन मेंजाने कितने रंग...

रोजाना एक कविता : आज पढ़ें आनंद कुमार द्विवेदी की कविता समय का माप

मैं प्रतीक्षा को समय से मापता हूँऔर समय को जीवन सेजीवन को मापता हूँ तुम्हारे साथ सेऔर तुम्हारा साथ … ?छोड़ोमैं फिर से प्रतीक्षा...

प्रेरक प्रसंग : ज्ञान की सार्थकता

डॉक्टर अल्बर्ट श्‍वाइट्जर अमेर‍िका में अपना आश्रम बनवा रहे थे, जहां उनकी योजना अपना ज्ञान और अनुभव युवाओं में बांटने की थी। आश्रम के...

लघुकथा: दार्शनिक और मोची

एक दार्शनिक फटे जूते लेकर एक मोची की दुकान पर आया और मोची से बोला, "जरा इनकी मरम्मत तो कर दो।"मोची ने कहा, "अभी...