New Delhi : स्टैंड-अप इंडिया योजना के तहत अप्रैल 2022 से मार्च 2025 के बीच 29,000 करोड़ रुपये हुए मंजूर: सीतारमण

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नई दिल्‍ली : (New Delhi) समावेशी आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में एक बड़ कदम के रूप में केंद्र सरकार की स्टैंड-अप इंडिया योजना (Stand-Up India scheme of the Central Government) के तहत अप्रैल 2022 से मार्च 2025 के बीच अनुसूचित जाति (एससी), अनुसूचित जनजाति (एसटी) और महिला उद्यमियों को करीब 29,000 करोड़ रुपये के ऋण स्वीकृत किए गए हैं।

केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Union Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने मंगलवार को राज्य सभा में एक सवाल के जवाब में यह जानकारी दी गई। वित्‍त मंत्री ने सदन को बताया कहा कि इस योजना का उद्देश्य वित्तीय सहायता और उद्यमशीलता सहायता प्रदान करके हाशिए पर रहने वाले समुदायों को आत्मविश्वास से भरे नौकरी सृजक में बदलना है।

सीतारमण ने कहा कि वित्तीय मदद के अतिरिक्त यह योजना हाशिए पर खड़े वर्ग को परामर्श, ट्रेनिंग और कौशल केंद्र, मेंटरशिप सहयोग, उद्यम विकास कार्यक्रम केंद्र, जिला उद्योग केंद्र जैसा विशेष प्रशिक्षण प्रदान करती है। उन्‍होंने कहा कि इस योजना के तहत 10 लाख रुपये से 1 करोड़ रुपये के बीच के मूल्य के ऋण उस श्रेणी (रेटिंग) के लिए बैंक की न्यूनतम लागू दर पर उपलब्ध कराए गए हैं, जो आधार दर एमसीएलआर+3 फीसदी + अवधि प्रीमियम से अधिक नहीं थी, तथा पुनर्भुतान अवधि 7 वर्ष थी, तथा अधिकतम 18 महीने तक की ऋण स्थगन अवधि थी।

उल्‍लेखनीय है क‍ि स्टैंड-अप इंडिया योजना 05 अप्रैल, 2016 को लॉन्च की गई थी। इस योजना का उद्देश्य विनिर्माण, सेवा क्षेत्र में ग्रीनफील्ड उद्यम स्थापित करने के लिए प्रत्येक बैंक शाखा से कम से कम एक अनुसूचित जाति या अनुसूचित जनजाति उधारकर्ता और एक महिला उधारकर्ता को 10 लाख रुपये से 01 करोड़ रुपये के बीच मूल्य के अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) से ऋण उपलब्ध कराना था।