लखनऊ : उप्र की राजधानी लखनऊ में डिजिटल अरेस्ट कर लोगों से ठगी करने के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। एक बार फिर ऐसा ही एक मामला सामने आया है। अलीगंज निवासी एक डॉक्टर को जालसाजों ने खुद को मुंबई क्राइम ब्रांच का अधिकारी बनकर 48 लाख की ठगी को अंजाम दिया है। इस मामले में पीड़ित की तहरीर पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है।
जानकारी के मुताबिक अलीगंज में रहने वाले अशोक सोलंकी फिजिशियन डॉक्टर है। उनके पास फेडेक्स कोरियर कंपनी का कर्मचारी बनकर 20 अगस्त को एक साइबर ठग ने फोन किया। ठग ने उनसे कहा कि ईरान से आपके नाम पर एक पार्सल आया है। पार्सल में जाली पासपोर्ट, लैपटॉप, पेन ड्राइव और कुछ मादक पदार्थ हैं। इस मामले में आपके खिलाफ मुंबई क्राइम ब्रांच में मुकदमा दर्ज किया गया है।
बकौल डॉक्टर अशोक, इसके बाद ठग ने डॉक्टर की मुंबई क्राइम ब्रांच का अधिकारी बने दूसरे ठग से बात कराकर मामला सुलझाने की बात कही। इस पर डॉक्टर उसकी बातों में आ गए। थोड़ी देर बाद डॉक्टर के पास दूसरे ठग ने स्काइप कॉल किया और खुद को मुंबई क्राइम ब्रांच का अधिकारी बताया। उसने कहा कि आपके खाते से करोड़ों रुपये के संदिग्ध लेनदेन हुए हैं। इसकी जांच की बात कह कर डॉक्टर को डिजिटल अरेस्ट किया। डॉक्टर के खातों की रकम चेक करने के लिए आरबीआई का खाता बताकर एक खाते में रकम ट्रांसफर कराई। चेकिंग के बाद एक घंटे में रकम वापस ट्रांसफर करने का झांसा दिया। आरबीआई का खाता जानकर डॉक्टर सोलंकी ने 48 लाख रुपये उस खाते में ट्रांसफर कर दिए।