कानपुर:(Kanpur) मत्स्य विभाग (Fisheries Department) ने अभी तक इस वित्तीय वर्ष का कोई लक्ष्य नहीं निर्धारित कर सका। हालांकि वित्तीय वर्ष 2023-24 के लाभार्थियों की चयन प्रक्रिया पूरी हो जाने के बाद लाभार्थियों के खाते में अनुदान धनराशि की प्रथम किस्त का भुगतान कर दिया गया है। यह जानकारी शुक्रवार को मत्स्य विभाग कानपुर के प्रभारी अधिकारी निखिल ने दी।
उन्होंने बताया कि वित्तीय वर्ष 2023-24 में सरकार द्वारा संचालित योजनाओं में मछुआ आवास योजना, प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना, निषादराज बोट सब्सिडी योजना, समेत अन्य योजनाओं के चिह्नित लाभार्थियों के खाते में अनुदान धनराशि की प्रथम किस्त का भुगतान कर दिया गया है।
उन्होंने बताया कि उप्र शासन ने नए वित्तीय वर्ष के लिए लक्ष्य नहीं निर्धारित कर सका है। इसकी वजह लोकसभा चुनाव की वजह प्रमुख कारण है। लक्ष्य निर्धारण के समय ही आचार संहिता लगा दी गई। जिसकी वजह से अब तक नए वित्तीय वर्ष का कोई लक्ष्य नहीं मिल सका है। जबकि सामान्य दिनों में अभी तक नए वित्तीय वर्ष का लक्ष्य आ जाता था।
मत्स्य विभाग उप्र नये वित्तीय वर्ष का अब तक नहीं कर पाया लक्ष्य निर्धारण
कानपुर: मत्स्य विभाग ने अभी तक इस वित्तीय वर्ष का कोई लक्ष्य नहीं निर्धारित कर सका। हालांकि वित्तीय वर्ष 2023-24 के लाभार्थियों की चयन प्रक्रिया पूरी हो जाने के बाद लाभार्थियों के खाते में अनुदान धनराशि की प्रथम किस्त का भुगतान कर दिया गया है। यह जानकारी शुक्रवार को मत्स्य विभाग कानपुर के प्रभारी अधिकारी निखिल ने दी।
उन्होंने बताया कि वित्तीय वर्ष 2023-24 में सरकार द्वारा संचालित योजनाओं में मछुआ आवास योजना, प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना, निषादराज बोट सब्सिडी योजना, समेत अन्य योजनाओं के चिह्नित लाभार्थियों के खाते में अनुदान धनराशि की प्रथम किस्त का भुगतान कर दिया गया है।
उन्होंने बताया कि उप्र शासन ने नए वित्तीय वर्ष के लिए लक्ष्य नहीं निर्धारित कर सका है। इसकी वजह लोकसभा चुनाव की वजह प्रमुख कारण है। लक्ष्य निर्धारण के समय ही आचार संहिता लगा दी गई। जिसकी वजह से अब तक नए वित्तीय वर्ष का कोई लक्ष्य नहीं मिल सका है। जबकि सामान्य दिनों में अभी तक नए वित्तीय वर्ष का लक्ष्य आ जाता था।