अक्षय तृतीया पर नहीं है विवाह का मुहूर्त
धमतरी : सूर्य का मकर राशि में आ जाने के बाद अंचल में वैवाहिक सीजन की शुरुआत हो जाती है। यह विवाह मूहुर्त जनवरी से प्रारंभ होकर अप्रैल तक चलेगा। मई-जून में विवाह का कोई मुहूर्त नहीं है। इसके बाद जुलाई में विवाह का शुभ मुहूर्त है। अबूझ मुहूर्त कहे जाने वाले अक्षय तृतीय यानी अक्ति के दिन भी कोई शुभ मुहूर्त नहीं है, इसलिए अक्ति पर विवाह नहीं हो सकेगा।
विप्र विद्वत परिषद के सदस्य पं. राजकुमार तिवारी ने बताया कि इस वर्ष शुक्र के अस्त हो जाने के कारण मई और जून में शादियां नहीं हो पाएंगी। अबूझ मुहूर्त कहे जाने वाले अक्षय तृतीय यानी अक्ति के दिन भी कोई शुभ मुहूर्त नहीं है, इसलिए अक्ति पर विवाह नहीं हो सकेगा। अक्षय तृतीया इस वर्ष 10 मई को है। यह दिन शादियों के लिए अबूझ मुहूर्त होता है। अक्ति में बगैर मुहूर्त देखे वर-वधु सात फेरे ले लेते हैं। पंडित राजकुमार तिवारी ने बताया कि 29 अप्रैल को शुक्र सूर्य के नजदीक आ जाएगा। सूर्य के नजदीक जो भी ग्रह आता है, उसे अस्त माना जाता है। 29 अप्रैल से 61 दिनों तक शुक्र अस्त रहेगा।
28 जून को शुक्र ग्रह के उदय होने के बाद मांगलिक कार्य, विवाह फिर से शुरु होंगे। 15 जुलाई तक देवशयन होने तक शुभ मुहूर्त है।विप्र विदवत परिषद के सदस्य पं. राजकुमार तिवारी ने बताया कि विवाह के लिए अप्रैल में 18, 19, 20 को शुभ मुहूर्त है। इसी प्रकार मई-जून को छोड़कर जुलाई में 9, 11, 12, 13, 14 और 15 को, इसके बाद चार माह देवशयनी, नवंबर में 12, 13, 16, 17, 18, 22, 23, 25, 26, 28 और 29 को तथा दिसंबर में 4, 5, 9, 10 तथा 14 को शादी के लिए शुभ मुहूर्त है।