latestpoem रोजाना एक कविता : रूसी भाषा के जानकार पत्रकार कमाल खान को श्रद्धांजलि देते हुए पढ़िए रूसी कवि काएसिन कुलिएव की कविता ‘आदमी लौटकर नहीं आते’ By India Ground Report - January 14, 2022 0 305 FacebookTwitterPinterestWhatsApp सुबह चली जाती हैऔर फिर लौटती हैदिन जाता है और फिर आता हैबारी आने पररात जाते है और लौट आती है फिर दिन ढलनेपर सिर्फ आदमी जाते हैं तो लौटकर नहीं आते।