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New Delhi : पिछले दस साल में दिल्ली में रोहिंग्या की संख्या बढ़ने में ‘आप-दा’ की बड़ी भूमिका: भाजपा

चुपके से दिल्ली में रोहिंग्याओं की संख्या बढ़ना खतरे की सूचक: संबित पात्राजेएनयू की एक रिपाेर्ट के आधार पर संबित पात्रा ने आआपा पर किया प्रहार
नई दिल्ली : (New Delhi)
भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) (भाजपा) सांसद संबित पात्रा ने जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) की दिल्ली में अवैध प्रवासियों पर एक विश्लेषणात्मक रिपोर्ट को लेकर आम आदमी पार्टी (आआपा) पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि ये लोग तुष्टिकरण की राजनीति करते हैं। पिछले दस सालों में दिल्ली की डेमोग्राफी तेजी से बदली है। दिल्ली में राेहिंग्याओं की संख्या बढ़ने के पीछे आआपा की बड़ी भूमिका है और खतरे की सूचक भी है।

भाजपा प्रवक्ता व सांसद संबित पात्रा सोमवार को 14 पंतमार्ग पर दिल्ली भाजपा कार्यालय में मीडिया को संबोधित कर रहे थे। भाजपा नेता संबित पात्रा ने कहा कि दिल्ली में अवैध प्रवासियों के सामाजिक-आर्थिक और राजनीतिक परिणामों का विश्लेषण विषय पर 114 पन्नों से अधिक की जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) की एक शोध रिपोर्ट जारी हुई है। पात्रा ने बताया कि इस रिपोर्ट में कहा गया है कि बांग्लादेश और म्यांमार से अवैध प्रवास के कारण मुस्लिम आबादी में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। रिपोर्ट में कहा गया है कि शहर की जनसांख्यिकी में बदलाव आया है। इस रिपोर्ट में सामाजिक-राजनीतिक प्रभाव सहित हर पहलू का उल्लेख किया गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि राजनीतिक संरक्षण के कारण डेमोग्राफी में बदलाव हुआ है। बिना दस्तावेज़ वाले रोहिंग्या और बांग्लादेशियों की आमद में आआपा की अहम भूमिका है। रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि कैसे ये राजनीतिक दल प्रवासियों के लिए फर्जी मतदाता पंजीकरण की सुविधा दे रहे हैं।

भाजपा सांसद पात्रा ने कहा कि यह दिल्ली दस साल पहले वाली दिल्ली नहीं है। चोरी चोरी चुपके कई रोहिग्या दिल्ली में आ बसे हैं, जो खतरे की सूचक है। ये लोग दिल्ली के लोगों का हक छीन रहे हैं। खासकर पूर्वांचली लोगों का, जो दिल्ली में विभिन्न जगहों पर काम करते हैं। दिल्ली के विकास में बिहार, उत्तर प्रदेश, केरल, ओडिशा से आए लोगों की बड़ी भागीदारी है। विशेषकर हर राज्य पूर्वांचली भाइयों का बहुत बड़ी भागीदारी रही। खासकर मजदूर वर्ग में एक प्रतिस्पर्धा शुरू हो गई है। उनके काम में सेंधमारी की रोहिंग्या ने किया। जो पैसा पूर्वांचली भाइयों को जाने चाहिए, वो पैसा रोहिंग्या ले कर जा रहे हैं। विस्तृत राजनीतिक संरक्षण के कारण ऐसा हो रहा है।

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