पंजाब सरकार ने चिट फंड कंपनियों के खिलाफ बनाया कानून
लावारिस पशुओं के लिए बनेगी नई पॉलिसी
चंडीगढ़ : पंजाब में चिट फंड कंपनियां अब फ्रॉड नहीं कर सकेंगी। सरकार ने चिट फंड कंपनियों के माध्यम से फ्रॉड करने वालों के लिए नया कानून बनाते हुए दस साल की सजा का प्रावधान किया है।
शनिवार को मुख्यमंत्री भगवंत मान की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में यह फैसला लिया गया। पंजाब सरकार राज्य में हुए हजारों करोड़ के पर्ल ग्रुप घोटाले की जांच पहले ही विजिलेंस ब्यूरो को सौंप चुकी है। इसके अलावा कई अन्य चिट फंड कंपनियों के खिलाफ भी जांच के आदेश दिए जा चुके हैं।
मुख्यमंत्री मान ने कहा कि पंजाब में चिट फंड कंपनियों से बहुत लोग ठगे गए हैं। उन्होंने पर्ल कंपनी का जिक्र किया। ऐसी चिट फंड कंपनियों के लिए एक्ट में 10 साल तक की सख्त सजा का प्रावधान किए जाने बारे जानकारी दी। उन्होंने कहा कि आरोपी कंपनियों के प्रबंधक/जिम्मेदार को सजा दिलाने के लिए मामला विधानसभा में लाया जाएगा।
पंजाब के मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में लावारिस पशुओं के कारण खेतों व सडक़ों पर खासा नुकसान हो रहा है। आए दिन सड़क हादसे हो रहे हैं। हर साल लोगों की जानें जा रही हैं। अब खेतों में होने वाले नुकसान तथा सड़कों पर होने वाले हादसों से निजात दिलाने के लिए सरकार बहुत जल्द नई पॉलिसी बनाने जा रही है। आज की बैठक में नई पॉलिसी के गठन को मंजूरी प्रदान कर दी गई है।
स्टाल लगाकर किया शिकायतों का निपटारा
मंत्रिमंडल की बैठक के दौरान शनिवार को मानसा में विभिन्न विभागों की स्टॉल लगाई गई। जहां मंत्री से लेकर अधिकारी व कर्मचारी मौजूद रहे। लोग अपनी समस्याएं लेकर स्टॉल पर आते रहे और अधिकारी उन्हें मौके पर ही निपटाते रहे। गावों से आए हुए लोग इस बात को लेकर खुश थे कि उन्हें एक ही छत तले अधिकारी, कर्मचारी व मंत्री मिल रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने बताया कि पंजाब सरकार की पूरी कोशिश रहेगी कि जिन किन्हीं भी लोगों के लंबे समय से कोई काम लंबित पड़े हैं, उन्हें आज ही पूरा कर दिया जाए। यदि किसी कागज की कमी होगी तो जिले के उपायुक्त द्वारा आवेदनकर्ता को सूचित कर फाइल बाद में पूरी कर ली जाएगी। उन्होंने कहा कि इससे पंजाब के लोगों को दूर-दराज चंडीगढ़ जाने की बड़ी परेशानी से राहत मिलेगी।