
नई दिल्ली : (New Delhi) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बुधवार को कहा कि भारत आज दूरसंचार प्रौद्योगिकी का बड़ा निर्यातक बनने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है जबकि कुछ साल पहले तक वह महज इसका एक उपयोगकर्ता हुआ करता था। मोदी ने यहां अंतरराष्ट्रीय दूरसंचार संघ (आईटीयू) के नए ‘क्षेत्रीय कार्यालय और नवाचार केंद्र’ का उद्घाटन करने के बाद एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि भारत उन देशों में से एक है जिसने सबसे तेज गति से 5-जी मोबाइल प्रौद्योगिकी शुरू की है। उन्होंने कहा कि 5-जी शुरू होने के 120 दिनों के भीतर सेवाओं का विस्तार 125 शहरों में किया गया है। मोदी ने कहा, ‘5-जी प्रौद्योगिकी शुरू होने के छह महीने के भीतर हम 6-जी के बारे में बात कर रहे हैं।’ उन्होंने कहा कि यह देश के विश्वास को दर्शाता है। उन्होंने कहा, ‘4-जी से पहले भारत केवल दूरसंचार प्रौद्योगिकी का उपयोगकर्ता था, लेकिन अब भारत दूरसंचार प्रौद्योगिकी का बड़ा निर्यातक बनने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है।’मोदी ने यह भी घोषणा की कि आने वाले दिनों में, भारत 100 नई 5-जी प्रयोगशालाओं की स्थापना करेगा।
उन्होंने कहा, ‘‘ये प्रयोगशालाएं भारत की अनूठी जरूरतों के अनुसार 5-जी एप्लिकेशन विकसित करने में मदद करेंगी।’ इस बात पर जोर देते हुए कि भारत का दूरसंचार और डिजिटल मॉडल सुचारू, सुरक्षित, पारदर्शी और भरोसेमंद है, प्रधानमंत्री ने कहा कि यह दशक ‘टेकेड’ का है। भारत की दूरसंचार सफलता की कहानी की चर्चा करते हुए मोदी ने कहा कि इंटरनेट उपयोगकर्ताओं की संख्या 2014 में 25 करोड़ से बढ़कर 85 करोड़ हो गई है, जिसमें अधिकांश ग्रामीण क्षेत्रों में हैं। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार और निजी क्षेत्र ने मिलकर पिछले नौ वर्षों में 25 लाख किलोमीटर से अधिक ऑप्टिकल फाइबर बिछाया है। इस दौरान प्रधानमंत्री ने ‘भारत 6-जी दृष्टि पत्र’ (टीआईजी-6जी) का अनावरण किया। उन्होंने ‘6-जी अनुसंधान और विकास (आरएंडडी) केंद्र’ की भी शुरुआत की। इसके अलावा उन्होंने ‘‘कॉल बिफोर यू डिग’ ऐप की भी शुरूआत की। आईटीयू, सूचना और संचार प्रौद्योगिकी (आईसीटी) के लिए संयुक्त राष्ट्र की विशेष संस्था है। इसका मुख्यालय जिनेवा में है। यह क्षेत्रीय कार्यालयों, आंचलिक कार्यालयों और प्रदेश कार्यालयों का एक नेटवर्क है। भारत ने क्षेत्रीय कार्यालय की स्थापना के लिए आईटीयू के साथ मार्च 2022 में एक समझौते पर हस्ताक्षर किए थे। देश में क्षेत्रीय कार्यालय में भी इसके साथ संबंधित एक नवाचार केंद्र की परिकल्पना की गई है जो इसे आईटीयू के अन्य क्षेत्रीय कार्यालयों के बीच अद्वितीय बनाता है। क्षेत्रीय कार्यालय पूरी तरह से भारत द्वारा वित्त पोषित है। यह महरौली में सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ टेलीमैटिक्स (सी-डॉट) भवन की दूसरी मंजिल पर स्थित है।