
Garuda Purana : गरुड़ पुराण की इन बातों पर करें अमल, होगी मां लक्ष्मी की कृपा

हिन्दू धर्म में ऐसी मान्यता है कि जब किसी की मृत्यु हो जाती है, तो गरुड़ पुराण (Garuda Purana) का पाठ कराना बहुत शुभ होता है। गरुण पुराण का पाठ करवाने से मरने वाले की आत्मा को शांति ( Peace in life ) मिलती है। 18 पुराणों में एक गरुड़ पुराण का हिंदू धर्म में विशेष महत्व बताया गया है। इस पुराण में भगवान विष्णु की भक्ति का विस्तार से वर्णन किया गया है। ये कहा जाता है कि इस पुराण को मरने के बाद ही सुनना चाहिए, लेकिन इसे एक भ्रामक स्थिति माना जाता है। वास्तव में गरुड़ पुराण एक ऐसा पुराण है, जो व्यक्ति को सत्कर्म करने के लिए प्रेरित करता है। इसमें जीवन से जुड़ी ऐसी तमाम नीतियों के बारे में बताया गया है।
जिस घर में भगवान को भोग लगाकर खाना खाया जाता है वहां नहीं होती कभी अन्न की कमी
गरुड़ पुराण में इस बात का जिक्र किया गया है कि भगवान को भोग लगाए बिना खाना नहीं खाना चाहिए। कहते हैं कि जिस घर में खाने को चखने से पहले भगवान को भोग लगाया जाता है, वहां कभी अन्न की कमी नहीं होती। वहीं अन्न का झूठा होना या इसका अनादर करना मां लक्ष्मी को नाराज कर सकता है। पुराण के मुताबिक अन्न की बर्बादी घर में कलह का कारण बन सकती है।
हर व्यक्ति को करना चाहिए ग्रंथ का पाठ

हर व्यक्ति को ग्रंथ का पाठ करना चाहिए। गरुड़ पुराण में कहा गया है कि हर व्यक्ति को धार्मिक ग्रंथों में मौजूद ज्ञान को जरूर समझना चाहिए। अगर वह खुद इस ज्ञान को जानेगा, तो वह इसके बारे में दूसरो को भी समझा पाएगा। मान्यता है कि हमें धर्म एवं कर्म का ज्ञान होना चाहिए, ऐसा होने पर हमें जीवन का असल उद्देश्य समझ आता है और हम सही दिशा में चल पाते हैं।
क्रोध पर काबू पा लेना
गरुड़ पुराण में चिंतन का भी खास जिक्र किया गया है। मान्यता है कि चिंतन के किए जाने से परेशानियां दूर होती हैं। तप, चिंतन एवं ध्यान लगाने से मन शांत होता है और क्रोध भी हमसे दूर रहता है। क्रोध पर काबू पा लेना जीवन में सफलता हासिल करने के समान होता है।