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Ahmedabad : अहमदाबाद में शेयर बाजार के दिग्गज मेघ शाह के फ्लैट से 87 किग्रा सोना जब्त

अहमदाबाद : (Ahmedabad) गुजरात के आतंकवाद निरोधक दस्ते (Gujarat Anti-Terrorism Squad) (एटीएस) और राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) ने अहमदाबाद के पालडी इलाके में अविष्कार फ्लैट्स पर छापा मारकर 87.900 किलोग्राम सोना और 1.3 करोड़ रुपये से अधिक की नकदी जब्त की है। यह बरामदगी शेयर बाजार के दिग्गज महेंद्र शाह और उनके बेटे मेघ शाह के फ्लैट से की गई है।यह सफलता डीआरआई और एटीएस के संयुक्त अभियान में मिली है। एजेंसियों का कहना है कि अहमदाबाद में हुई इस बरामदगी का कनेक्शन मुंबई तक फैला हुआ है।

मुंबई में रहने वाले और डब्बा ट्रेडिंग से जुड़े मेघ शाह नामक युवक ने डब्बा ट्रेडिंग से कमाए पैसों से खरीदे गए सोना को छिपाने के लिए अहमदाबाद में एक फ्लैट किराए पर ले रखा था। हर्षद मेहता की तरह मेघ शाह भी शेयर बाजार में छोटी-छोटी स्क्रिप्ट का कारोबार करके केंद्रीय एजेंसियों की नजर में आया। जांच एजेंसियों के अनुसार, फर्जी कंपनियों के शेयर मूल्यों में हेरफेर करने वाले एक संचालक महेंद्र शाह और उनके बेटे मेघ शाह ने यह फ्लैट किराए पर लिया था। बताया गया है कि इस फ्लैट से करोड़ों की कीमत वाली एक ब्रांडेड घड़ी भी मिली है। जब्त सोने का बाजार मूल्य 100 करोड़ रुपये से अधिक होने का अनुमान है। सोमवार को शुरू हुआ यह ऑपरेशन आज सुबह 8 बजे समाप्त हुआ। दोनों एजेंसियों ने पालडी में महालक्ष्मी चौराहे के पास आविष्कार अपार्टमेंट के फ्लैट नंबर 104 पर सोमवार को छापा मारा था। महेंद्र शाह शेयर मार्केट में ऑपरेटर है। कहा जा रहा है कि यह सोना पिछले एक साल में खरीदा गया था। फ्लैट में एक तिजोरी में करोड़ों के लेन-देन की कच्ची प्रविष्टियां मिलने की बात कही जा रही है।

प्रारंभिक जांच में पता चला है कि डब्बा ट्रेडिंग से काला धन अवैध रूप से सोने में निवेश किया जा रहा था। डीआरआई और एटीएस के 35 से अधिक अधिकारियों द्वारा की गई तलाशी में लगभग 22 घंटे का समय लगा। डीआरआई अधिकारी पांच दिन से फ्लैट पर नजर रख रहे थे। कौन किस समय आया और किस वाहन में आया, इसकी पूरी जानकारी दिन-रात दर्ज की गई। डीआरआई ने पाया कि कुछ लोग लगभग हर दिन बैग लेकर घूम रहे थे, भले ही फ्लैट बंद थे। छापे से पहले पता चला कि इस बंद फ्लैट की चाबी एक वकील के पास थी। इसलिए उन्होंने वकील को बुलाया और फ्लैट खोला। डीआरआई को संदेह है कि यह घोटाला जितना दिख रहा है, उससे कहीं अधिक बड़ा हो सकता है।

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